प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को अपने रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ में कहा कि हमें क्वारन्टीन में रहने वाले लोगों को साथ भेदभाव नहीं करना चाहिए। कोरोना वायरस से लड़ने का सबसे कारगर तरीका सोशल डिस्टेंसिंग है, लेकिन हमें ये समझना होगा कि सोशल डिस्टेंसिंग का मतलब सोशल इंटरैक्शन को खत्म करना नहीं है। वास्तव में ये समय अपने सभी पुराने सामाजिक रिश्तों में नई जान फूंकने का है, रिश्तों को तरो- ताजा करने का है।
पीएम ने कहा की ऐसे लोग कोई अपराधी नहीं हैं बल्कि वायरस के संभावित पीड़ित भर हैं। इन लोगों ने दूसरों को संक्रमण से बचाने के लिए खुद को अलग किया है और Quarantine में रह रहे हैं। कई जगह पर लोगों ने अपनी जिम्मेदारियों को गंभीरता से लिया है।